कानपुर देहात। राजपुर में किसान से खेत बंटवारे के नाम पर 18 हजार रुपये घूस लेते समय लेखपाल को एंटी करप्शन लखनऊ की टीम ने पकड़ लिया। टीम उसको अकबरपुर थाने लेकर आई और पूछताछ की। लेखपाल के पास से कई दस्तावेज मिले। उसके खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा के तहत मुकदमा दर्ज किया गया। वहीं आरोपित के पक्ष में कई लेखपाल थाने में जमा हो गए और रात तक डटे रहे। वह गलत फंसाने की बात कहते रहे।
राजपुर दमनपुर के किसान मन्ना सिंह ने खेत के पारिवारिक बंटवारे के लिए तहसील सिकंदरा में प्रार्थना पत्र दिया था। इस पर क्षेत्र के लेखपाल संजीव सचान ने किसान से संपर्क किया और काफी दिन तक मामला लटकाए रहे। आखिर में मन्ना सिंह से 20 हजार रुपये की मांग संजीव ने की और बातचीत के बाद 18 हजार रुपये में बात तय हो गई।
एंटी करप्शन लखनऊ की टीम ने किया गिरफ्तार
किसान मन्ना ने मामले की शिकायत पहले एसडीएम सिकंदरा शिखा संखवार से एक माह पूर्व की थी। इस पर स्पष्टीकरण आरोपित लेखपाल से मांगा गया था। इधर लेखपाल दबाव बनाए था कि काम नहीं हो पाएगा और उसकी हिम्मत बढ़ी हुई थी। इसके बाद मन्ना सिंह ने एंटी करप्शन टीम से संपर्क किया।
शुक्रवार को टीम आ गई लेकिन लेखपाल ने काम अधिक होने की बात कह शनिवार को मिलने की बात कही इससे टीम उस दिन सफल नहीं हो पाई। इसके बाद शनिवार को किसान की लेखपाल से बात हुई तो उसने थाना समाधान दिवस के बाद मिलने को कहा। कार लेकर वह आया और किसान को बुलाया।
टीम ने मन्ना को समझा रखा था कि जैसे ही रुपये आरोपित ले वह अपने सिर पर रखे गमछे को हाथ से झटकने का इशारा करे तब टीम तुरंत आ जाएगी। इसके बाद घेराबंदी हुई और सादे कपड़ों में निश्चित जगह टीम तैनात हो गई। इसके बाद कार के अंदर जैसे ही रुपये लेखपाल संजीव ने पकड़े तो मन्ना ने सिर पर रखे गमछे को हाथ से झटक दिया, इसके बाद टीम आ गई।
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